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AL KABIR HERBS
AL KABIR HERBS has been providing treatment to thousands of people through Ayurved.
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Heart
अल कबीर हर्ब्स में हार्ट की सभी तरह की बीमारियों का इलाज किआ जाता है
Kidney
अल कबीर हर्ब्स में किडनी की सभी तरह की बिमारियों का इलाज किया जाता है
Liver
अल कबीर हर्ब्स में लीवर की सभी तरह की बिमारियों का सफल इलाज किया जाता है
Cancer
अल कबीर हर्ब्स में सभी प्रकार के कैंसर का सफल इलाज किया जाता है
Gallbladder
अल कबीर हर्ब्स में गॉलब्लेडर स्टोन और किडनी स्टोन का सफल इलाज किआ जाता है स्टोन चाहे छोटा हो या बड़ा
दस्ते कुदरत से बना तू भी कोई नक्शे अज़ीम , चश्मे हसरत से किसी महल की तामीर न देख । अल्फ़ाज व मानी के गोहर क्यों न मिलेंगे ज़ेहनों को समुन्दर की तरह पहले खंगालो मुमताज़ अहमद मिस्बाही
अल कबीर हर्ब्स द्वारा निर्मित दवा का पूरा कोर्स के बाद जीवन की दवा और परहेज की जरूरत नहीं – अल कबीर हर्ब्स में दुर्लभ जड़ी – बूटी से सभी तरह के गंभीर से गंभीर रोगों का सफल ईलाज के मामले में नित नई इबारत लिख रहा है इसी क्रम में अल कबीर हर्ब्स के डायरेक्टर मुमताज अहमद मिसबाही ने दुर्लभ जड़ी – बूटियों से ऐसी दवा तैयार की है जिसके सेवन ( पूरा कोर्स ) कर लेने से दिल का दौरा ( हार्ट अटैक ) जीवन में कभी भी नहीं पड़ता है और जिन्हें हार्ट की समस्या न के हो उनको भी कोर्स पूरा करने के बाद हार्ट की बीमारी जीवन में कभी नहीं होती है । हार्ट का स्थायी ईलाज है ? जी हां , जड़ी – बूटी के द्वारा हार्ट का कम्पलीट और परमानेन्ट ईलाज है । हृदय का ऑपरेशन , हदय के रोगियों का स्थायी ईलाज नहीं है । क्या आप नहीं देखते कि महंगी से महंगी जगह और भारी से भारी रकम खर्च करने के बाद भी रोगी की दवा नहीं छूटती और परहेज करना भी बन्द नहीं होता है । साथ ही जीवन भर कमजोरी
अल कबीर हर्ब्स के संस्थापक व डायरेक्टर श्री हकीम मुम्ताज अहमद मिस्बाही का जन्म चूंकि झारखण्ड के पहाड़ी इलाके में हुआ है इसलिए पेड़ , पौधों और जड़ी – बुटियों की महक ने उन्हें अपनी ओर आकर्षित कर लिया और वह जड़ी – बुटियों और पेड़ – पौधों मे घुल- मिलकर अपने को शांत महसूस करने लगे । यह उसी फितरी आकर्षण और लगाव का कारण है कि उन्होंने बचपन से ही अनेक जड़ी बुटियों के असर को परखना शुरू कर दिया और फिर आयु और शिक्षा में बढ़ोतरी के साथ उनके लगन में दिन – ब – दिन बढ़ोतरी होती ही चली गई । यहां तक कि आज उनकी खोज और चाहत चरम पर है उनमें कुछ ऐसी खोज भी है जो उन्हें इन्टरनेशनल हकीमों के लाईन में खड़ा करता है । कुदरती जड़ी – बुटियों से ईलाज के लिए उन्हें कितना बलिदान देना पड़ा इसका अनुमान इस बात से लगाया जा सकता है कि चौबीस वर्षों तक लगातार झारखण्ड के वनों , पहाड़ों , नदी – नालों , वीरानों और सब्जारों की धूल छानने के बाद आखिर उन जड़ी- बुटियों को ढूंढ़ निकालने में सफलता प्राप्त कर ही ली जिनसे बिमारियां बिना चीर – फाड़ बहुत जल्द ठीक हो जाती है । अपने उन महान कारनामों के आधार पर यह कहने में कोई हिचकिचाहट नहीं की –
जो शौक दीवावरी हो , तो देखने वालो नकाब से जो छन जाए , वह नगर लाओ । इस वैज्ञानिक युग में भी कुदरती चीजों का कोई मुकाबला नहीं । हार्ट ( Heart ) कुदरत की एक महान देन है , इसका सफल ईलाज भी कुदरती दवाओं से ही सम्भव है । चौबीस वर्षों से लगातार प्रयोग करने के बाद अब पूर्ण रूप से यकीन व भरोसे के साथ हदय रोगियों के लिए अल कबीर हर्ब्स की ऐसी पेशकश जिसने सैकड़ों को मौत के बिस्तर से उठाकर दौड़ा दिया और केवल हदय ही नहीं बल्कि किडनी ( Kidney ) के रोगियों के लिए बहुत बड़ी खुशखबरी है । पेसमेकर मशीन लगी हो या कई सारे स्टेंट लगे हो या फिर ओपेन सर्जरी हो चुका हो , हार्ट की दवा का पूरा कोर्स करने के बाद जीवन भर हार्ट की दवा या ब परहेज की आवश्यकता नहीं पड़ती है ।
किडनी इंसान के शरीर का महत्वपूर्ण अंग है ।
किडनी का काम : – शरीर के सारे खून को किडनी से होकर गुजरना पड़ता है । किडनी खुन को साफ करके पेशाब पैदा करता है जो चौबीस घंटे में डेढ़ लीटर पेशाब हालेबीन के द्वारा मसाना में भेजता है । किडनी खराब होने के कारण : – किडनी खराब होने के कई कारण हो सकते हैं सर्वप्रथम हमारी जीवनशैली , अत्यधिक अंग्रेजी दवाईयों का सेवन , फलों और सब्जियों से अंधाधुंध कीटनाशकों का इस्तेमाल खासकर बी.पी. , शुगर , डिपरेशन , तनाव इत्यादि बीमारियों से बचने के लिए एलोपैथिक रास्तों को अपनाने से किडनी जल्दी और अधिक प्रभावित होती है । लक्षण : – जब किडनी खराब होने लगती है तो किडनी का सारा काम बन्द होने लगता है खास तौर से आंखो के पपोटों पर सृजन होना शुरू हो जाता है । चमड़े का रंग फिंका पड़ने लगता है और रोगी को कमजोरी का एहसास होने लगता है । Creatinine Serum और ब्लड युरिया बढ़ने और हेमोग्लोबिन घटने लगता है । भुख कम होने लगती है , उल्टी का एहसास होने लगता है और ज्यादा बिमारी बढ़ जाने पर कुछ भी खाने से उल्टी हो जाती है । यहां तक की पानी भी पेट में नहीं रह पाता और सांस फूलने लगता है और मरीज काफी कमजोर होने लगता है । इसके बाद कोई भी दवा काम नहीं कर पाती है और मरीज Dialysis में चला जाता है । जो स्थायी समाधान नहीं है । अतः मर्ज बेकाबु हो जाता है । और अंतत मरीज हमारे बीच नहीं रह पाता है ।
Al KABIR HERBS
Best Ayurvedic clinic in Jharkhand { NO Side effets NO Chemical MORE Benefits }
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AL KABIR HERBS is a gift to mankind. It is famous for its expertise in curing, treatment, human tempraments and the problems related to health.
AL KABIR HERBS is running successfully since more than 30 years under the guidance of hakeem
Who is well known personality for his knowledge in Ayurved and herbal remedies.
Our team is always moving around in search of the best herbs (jadi booti) in India and abroad. From those selected herbs (jadi booti)AL KABIR HERBSprepares medicines which are highly effective to cure patients suffering from serious diseases like heart problems or cancer.
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हार्ट की बीमारी का जड़ी बूटी से बेहतर कोई दूसरा इलाज नहीं हो सकता
मो नवाब -मेरा नाम मो नवाब है, मेरी उम्र 46 वर्ष है, मैं गाजीपुर यूपी का रहने वाला हूं मेरा मोबाइल नंबर 7985113611 है, गाजीपुर में मेरा स्थापित व्यवसाय है, मेरे घर परिवार में सब कुछ ठीक से चल रहा था इसी दौरान मुझे आभास हुआ कि मुझे काफी ज्यादा थकान हो रही है, शुरुआत में मैंने ज्यादा ध्यान नहीं दिया लेकिन धीरे-धीरे मुझे पसीना आने लगा और सीना भी भारी रहने लगा, सीने में दर्द और जलन की भी शिकायत होने लगी इसी दौरान अचानक से दो-चार बार मैं बेहोश भी हो गया, मेरे घरवाले काफी घबरा गए, आनन-फानन में मुझे स्थानीय चिकित्सक के पास ले गये, जहां के इलाज से कोई सुधार नहीं हो रहा था तब मुझे एम्स दिल्ली ले जाया गया, जहां चिकित्सक ने हार्ट ब्लॉकेज होने की बात बताई, एम्स के डॉक्टर ने मुझे दवा दिया और इसका एकमात्र इलाज ऑपरेशन बताया, हार्ट ब्लॉकेज की दवा खाते-खाते मेरा पूरा बदन में सूजन हो गया, जांच कराने पर पता चला कि मेरी किडनी भी खराब हो रही है मेरी दोनों किडनी में सिस्ट भी था और मेरा eGFR 65 हो गया था, मेरा किडनी थर्ड स्टेज तक खराब हो चुका था, हार्ट ब्लॉकेज के बाद किडनी खराब होने की जानकारी मिलने के बाद मेरे आंखों के आगे अंधेरा सा छा गया, मुझे लगने लगा कि अब मेरा व्यवसाय का क्या होगा मेरे
घर परिवार की जवाबदेही का कैसे निवारण होगा, मैं हर तरफ से निराश होने लगा इसी बीच अखबारों के माध्यम से मुझे अल कबीर हर्ब्स लोहरदगा के बारे में पता चला, एक बार तो मुझे यकीन ही नहीं हुआ मेरे घर वाले भी जड़ी बूटी से इलाज के लिए तैयार नहीं हुए, लेकिन इसी दौरान अल कबीर हर्ब्स लोहरदगा में इलाज करा चुके हार्ट के एक मरीज से संजोगवश मेरी मुलाकात हो गई, जिन से बातचीत करने पर मुझे पता चला की दुर्लभ जड़ी बूटी के मिश्रण से निर्मित दवा से अल कबीर हर्ब्स लोहरदगा द्वारा हार्ट का सटीक इलाज होता है, उनके साथ बातचीत करने के बाद मुझे किसी और से मशवरा की जरूरत ही नहीं पड़ी, मैं बगैर समय गवाएं अल कबीर हर्क्स लोहरदगा पहुंचा जहां हकीम साहब ने मेरा पूरा मर्ज को समझ कर जड़ी बूटी से मेरा इलाज शुरू किया, अल कबीर हर्ब्स लोहरदगा से इलाज शुरू होने के 2 माह बाद ही मेरा eGFR 65 से बढकर 110 हो गया था, मेरा सांस फूलना, थकान होना, पसीना आना, सीने में भारीपन, घबराहट एवं बेचौनी सब कुछ ठीक हो चूका था, मुझे लगता ही नहीं था की मैं हार्ट का मरीज हूँ, मैं अल कबीर हर्ब्स लोहरदगा के जड़ी-बूटी से निर्मित हार्ट की दवा का 4 माह को कोर्स पूरा कर जुका हूं और मैं अब पूरी तरह स्वस्थ महसूस कर रहा हूं, मैं अपना एंजियोग्राफी मुंबई के एक नामी गिरामी अस्पताल से करा कर देख चुका हूं, मेरा हार्ट ब्लाकेज पूरी तरह से समाप्त हो चुका है, अब मैं बिल्कुल एक युवा की तरह महसूस कर रहा हूं। अल कबीर हर्ब्स के हकीम साहब को जड़ी-बूटी की अद्भुत जानकारी है, इनके हाथों में सच कहूं तो जादू है, अगर मुझे समय रहते अल कबीर हर्ब्स लोहरदगा की जानकारी मिल गई होती तो मेरा कीमती समय और पैसा बच गया होता, मुझे लगता है नामी-गिरामी अस्पताल में महंगे इलाज के बजाय हार्ट के सभी तरह की बीमारी के लिए अलकबीर हर्बर्ड्स लोहरदगा में जड़ी बूटी से ज्यादा सटीक इलाज है।
हमने अल कबीर हर्ब्स में विश्वास किया हृदय रोग से मुक्ति पाया
गोकुल चंद जयसवाल लोहरदगा स्थित अल कबीर हर्ब्स ने मेरे जीवन में खुशियों का वह पल दिया , जिसकी कल्पना न तो हमने किया था , ना ही मेरे परिजनों ने यह कहना है बिहार के कैमूर जिले के मोहनिया निवासी गोकुल चंद जायसवाल का । वह लगभग 2 वर्ष पहले हृदय रोग से ग्रसित थे । श्री जायसवाल ने बताया कि अचानक उनके हृदय में दर्द हुआ । लोगों ने कहा की ब्लड प्रेशर की वजह से यह दर्द हुआ है , पर दर्द बढ़ता गया । राहत के लिए कैमूर में प्राथमिक इलाज कराया , परंतु डॉक्टर ने मुझे बेहतर इलाज के लिए बाहर जाने की सलाह दी , मेरे परिजनों ने मुझे पहले पटना फिर वाराणसी ले गए , जहां नामी – गिरामी चिकित्सकों ने मेरा इलाज किया , इलाज के दौरान पानी की तरह मेरे पैसे भी खर्च हुए और फायदा के नाम पर कुछ भी नहीं हुआ , दिन – ब – दिन मेरी हालत बिगड़ती जा रही थी , इसी बीच सभी डॉक्टरों ने मुझे बाईपास सर्जरी की सलाह दी , तभी मुझे अल कबीर हर्ब्स के बारे में पता चला जहां बगेर ऑपरेशन के द रोग का शत प्रतिशत सफलतापूर्वक स्थाई इलाज किया जाता है , यह खबर हमारे परिजनों के लिए उर्जा संचार करने वाला साबित हुआ , हम लोग बगैर देर किए अल कबीर हर्ब्स पहुंचे , जहां हकीम साहब ने प्राकृतिक रूप से बने जड़ी – बूटी के माध्यम से मेरा इलाज शुरू किया , 4 महीने के इलाज के बाद में पूरी तरह से तंदुरूस्त हो गया , आज मुझे किसी तरह की कोई परेशानी नहीं है , में दवा भी छोड़ चुका हूं और अपने घर का सारा काम पहले की तरह करने लगा , अल कबीर हर्ब्स मेरे लिए वरदान साबित हुआ जिसने मुझे नया जीवन दिया है , झारखंड औषधालय के हकीम साहब का में सदा ऋणी रहूंगा , में देश के आम आवाम को मशवरा देता हूं कि ऑपरेशन से बचें और हृदय रोग का स्थाई इलाज अल कबीर हर्स में करा कर देखें , भाईयों भरोसा ना हो तो हमारे फोन नंबर 9973045545 पर हमसे बात कर हकीकत से रूबरू सकते हैं
किडनी ट्रांसप्लांट कराने से बचना हो तो अल कबीर हर्ब्स पर करें भरोसा
छपरा बिहार की रहने वाली खुशबू कुमारी (उम्र – 6 वर्ष) की दोनों किडनी सिकुड़ गया था, खुशबू के परिजन इसका इलाज छपरा से लेकर पटना दिल्ली होते वेल्लोर तक कराया, लेकिन सुधार के नाम पर कुछ नहीं दिख रहा था, वेल्लोर के चिकित्सक इसका इलाज सिर्फ किडनी ट्रांसप्लांट बता रहे थे, घर वाले परेशान थे कि आखिर इस नन्हीं सी बच्ची की जान कैसे बचाई जाए, इतनी छोटी सी बच्ची का किडनी ट्रांसप्लांट कराना और इस में आने वाले खर्च के बारे में सोचकर ही घरवालों की आंखों से आंसू आ जा रहे थे, लेकिन कहते हैं ना ऊपर वाले हर किसी को मुसीबत में एक राह जरूर दिखाता है, इनके साथ भी कुछ ऐसा ही हुआ, घर परिवार में चर्चा के दौरान अलकबीर हर्बस की अखबार में छपी खबर पर इनकी नजर पड़ी, परिवार वालों ने बगैर देर किए खुशबू को अलकबीर हर्बर्ड्स ले आये, अलकबीर हर्बर्ड्स लोहरदगा के हकीम साहेब द्वारा खुशबु का इलाज शुरू करते ही खुशबु में तेजी से सुधार होने लगा, 4 माह के इलाज के बाद खुशबू अब पूरी तरह से स्वस्थ है इसका eGFR 139 हो गया है, अब दवा भी बंद हो चुकी है खुशबू के परिजन अलकबीर हर्बर्ड्स लोहरदगा के इलाज से पूरी तरह से संतुष्ट है, खुशबू अब आम बच्चों की तरह घर के बाहर खेल भी रही है और स्कूल भी जाना शुरू कर दिया है।
बिगड़े नस, उतरे गर्दन व हर तरह के मोच को ठीक कर देते हैं कलीमुद्दीन
शरीर के किसी भी अंग में हड्डी या नस से संबंधित कोई भी दर्द या समस्या हो या किसी भी अंग में चोट, मोच, चलने-दौड़ने अथवा फिसल कर गिरने या सोने में किसी तरह की नस दब गई हो या मुड़ गई हो तो अब दर्द सहने कि जरूरत नहीं है, इन सब समस्याओं के निदान के लिए अल कबीर हर्ब्स में कलीमुद्दीन मौजूद है, कलीमुद्दीन को ऊपर वाले ने कुछ विशेष गुण दिया है, उनके हाथ लगाते ही हड्डी और नस से संबंधित किसी भी प्रकार की तकलीफ तुरंत दूर हो जाती है, कलीमुद्दीन मालिश के द्वारा ही सारा इलाज करते हैं।
मेरा हार्ट ब्लॉकेज का अल कबीर हर्ब्स में हुआ सफल इलाज
मेरा नाम अब्दुर रऊफ है, मेरी उम्र 51 वर्ष है, मैं चतरा जिले का रहने वाला हूं, मेरा मोबाइल नंबर 9525758593 है
एक वर्ष पूर्व मुझे अचानक कमजोरी सी महसुस होने लगी, चार कदम चलने पर सांस फूलने लगा और थकावट होने लगी, रह-रह कर चक्कर आना और पसीना निकलना रोज कि बात हो गयी, डॉक्टर से मिलने पर मुझे हृदय रोग होने का पता चला, मेरे परिजनों ने मेरा इलाज रांची के एक बड़े अस्पताल में कराया जहां सभी बड़े डाक्टरों ने ऑपरेशन की सलाह दी, ऑपरेशन के नाम से ही मैं घबरा गया और पैसे इंतजाम कर वापस ऑपरेशन के लिए अस्पताल पहुंचने की बात कह कर वहां से घर चला गया, मेरे साथ साथ मेरे घर वाले भी काफी चिंतित हो गए, इसी बीच 1 दिन अखबार के माध्यम से अल कबीर हर्ब्स में हृदय रोग का जड़ी-बूटी से सफल इलाज होने की जानकारी मिली, ऑपरेशन के बजाय जड़ी बूटी से हृदय रोग का इलाज होने की जानकारी मिलते ही मैं तुरंत अल कबीर हर्ब्स पहुंचा, अल कबीर हर्ब्स के हकीम साहब को अपनी सारी परेशानी बताई और अब तक का सारा रिपोर्ट दिखाया, हकीम साहब ने धैर्य रखकर दवा का कोर्स पूरा करने की बात कही, मैंने अलकबीर हर्ब्स के 4 महीने का दवा का कोर्स पूरा कर लिया, अब मैं बिल्कुल ठीक हूं, मुझे किसी तरह की कोई परेशानी नहीं है, मैंने अपने ब्लॉकेज का जांच भी करा कर देखा, अब कहीं ब्लॉकेज भी नहीं है, मुझे लगता है अलकबीर हर्ब्स किसी वरदान से कम नहीं है, जड़ी बुटी कि शक्ति का पता मुझे अल कबीर हर्ब्स आकर ही चला।
हार्ट ब्लॉकेज दूर करने के लिए अलकबीर हर्बर्ड्स की हर्बल दवा है कारगर
मैं सुशील कुमार, उम्र 47 वर्ष, चाणक्य नगर पटना का रहने वाला हूं, मेरा मोबाइल नंबर 9931282723 है, पटना के एक कोचिंग में बच्चों को पढ़ाना और अपने परिवार के साथ हंसी खुशी जीवन जीना, यही हमारी दिनचर्या थी कि अचानक एक दिन मुझे हार्ड अटैक हो गया, फिर मुझे पटना के एक अस्पताल में भर्ती कराया गया, जहां 99 प्रतिशत हार्ट ब्लॉकेज होने का पता चला, मेरे परिवार में मेरा साला, मेरे चाचा और कई पारिवारिक मित्र डॉक्टर है, बावजूद इसके प्रारंभिक इलाज के बाद सभी ने मेरा इलाज दिल्ली में कराने का निर्णय लिया, फिर दिल्ली के एक नामी हृदय रोग विशेषज्ञ से मेरा इलाज चलने लगा, दिल्ली के चिकित्सक ने सर्जरी से बचने के लिए जीवन भर दवा खाने और परहेज करने की सलाह दी, मैं 6-7 वर्ष तक उन्हीं के निर्देश पर दवा लेता रहा और जीवन जी रहा था, परंतु कोरोना काल में मुझे रेगुलर चेकअप में परेशानी होने लगी और दवा से मेरा मुंह का टेस्ट भी बिगड़ने लगा साथ ही सीना में भी हल्का हल्का दर्द होने लगा, इसी दौरान मुझे अखबार के माध्यम से अलकबीर हर्बस के बारे में पता चला, मैं एक बार अलकबीर हर्बर्ड्स में अपना इलाज कराने का निर्णय लिया और लोहरदगा पहुंच गया, जहां हकीम साहब से मिला उन्होंने मेरी पूरी बात संजीदगी के साथ सुनी और कहा कि आप सही समय पर सही जगह हार्ट ब्लॉकेज का इलाज कराने के लिए आ गए हैं। अब आपको चिंता की कोई बात नहीं है, हकीम साहब ने इलाज शुरू किया, मैं 4 माह का कोर्स पूरा कर चुका हूं। हार्ट ब्लॉकेज की कोई समस्या नहीं है, सभी तरह के परहेज से मुझे निजात मिल चुकी है, मैं अपने जीवन ह के नार्मल रूटीन में लौट चुका हूं, अब मुझे ऐसा लगता है कि शुरुआत के दिनों में ही अगर मैं अलकबीर हर्बस चला गया होता तो मेरे जीवन के 6-7 वर्ष बेकार नहीं गए होते और ना ही मेरी गाढ़ी कमाई के लाखों रुपए खर्च हुए होते, हकीम साहब की जड़ी बूटी से निर्मित दवा हार्ट ब्लॉकेज के इलाज के लिए पूरी तरह कारगर है, हकीम साहब ने मुझे नया जीवन दे दिया।